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Piles Hospital Blog: Your Resource for Effective Piles Treatment and Management

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26/May/2025

बवासीर के 10 शुरुआती लक्षण जिन्हें नजरअंदाज नहीं करना चाहिए

जब शरीर देता है संकेत, लेकिन हम सुनते नहीं

क्या आपने कभी सोचा है कि हमारा शरीर हमसे बात करता है? हाँ, वो हर दिन कुछ न कुछ संकेत देता है, खासकर जब कोई बीमारी धीरे-धीरे पनप रही होती है। लेकिन अफसोस, हम अक्सर इन संकेतों को या तो नज़रअंदाज कर देते हैं या मामूली समझकर टाल देते हैं।

बवासीर यानी पाइल्स भी ऐसी ही एक बीमारी है। शुरुआत में ये छोटी-छोटी तकलीफ़ों के रूप में सामने आती है—थोड़ी खुजली, कभी-कभी खून, हल्की सूजन। लेकिन जैसे-जैसे समय गुजरता है और हम इन संकेतों को अनदेखा करते हैं, ये तकलीफ गंभीर रूप ले लेती है। खासकर बीड जैसे शहरों में, जहाँ गर्मी, खानपान और बैठकर काम करने की आदतें आम हैं, वहां ये बीमारी और तेजी से फैलती है।

छोटी-छोटी तकलीफ़ें, जो बड़ा रूप ले सकती हैं

बवासीर की शुरुआत अक्सर इतनी साधारण होती है कि लोग शर्म के मारे डॉक्टर को भी नहीं दिखाते। लेकिन यही शर्म बाद में ऑपरेशन तक की नौबत ला सकती है। कल्पना कीजिए कि आप एक छोटी जलन को नज़रअंदाज़ कर रहे हैं, जो एक दिन खून बहाने लगे—डरावना, है ना?

बीड में बवासीर से पीड़ित लोगों की कहानी

हमारे एक पड़ोसी, श्री बंडू पाटिल, बीड में सरकारी कार्यालय में काम करते हैं। लगातार घंटों बैठकर काम करना, कम पानी पीना और तीखा खाना उनकी दिनचर्या थी। जब पहली बार उन्हें गुदा में जलन और दर्द हुआ, तो उन्होंने इसे “गर्मी का असर” समझकर टाल दिया। हफ्तों बाद, जब खून आना शुरू हुआ, तब जाकर वो Ghodke Piles Hospital पहुँचे। सही समय पर इलाज मिल गया, वरना स्थिति और बिगड़ सकती थी।

इसीलिए, अगर आप बीड में रहते हैं और ऐसे लक्षण महसूस करते हैं, तो इसे हल्के में मत लें। क्योंकि…

“बीमारी की शुरुआत में किया गया इलाज, भविष्य में पीड़ा से बचाता है।”

गुदा क्षेत्र में सूजन या गांठ

जब गुदा क्षेत्र में किसी प्रकार की सूजन या हल्की गांठ महसूस हो, तो यह बवासीर का एक और महत्वपूर्ण संकेत हो सकता है। यह गांठें आंतरिक भी हो सकती हैं, जो मल त्याग के समय बाहर की ओर आ जाती हैं, या बाहरी भी हो सकती हैं जो लगातार महसूस होती हैं।

बीड में हमारे कई मरीज़ बताते हैं कि शुरुआत में उन्होंने इसे केवल ‘जलन या फुंसी’ समझा। लेकिन जैसे-जैसे दिन बीतते गए, वो गांठ बड़ी होती गई और बैठने या चलने में असहजता पैदा करने लगी। यह स्थिति इस ओर इशारा करती है कि आपको तुरंत किसी विशेषज्ञ से संपर्क करना चाहिए।

“गांठ कोई सामान्य फोड़ा नहीं—यह गंभीर संकेत हो सकता है।”

Ghodke Piles Hospital, बीड में लेज़र ट्रीटमेंट द्वारा painless समाधान प्रदान करता है, जो आपकी दिनचर्या को प्रभावित किए बिना समस्या को जड़ से खत्म करता है।


खुजली और जलन

गुदा क्षेत्र में लगातार खुजली या जलन होना भी बवासीर का एक प्रारंभिक लक्षण है। कई लोग इसे हाइजीन की कमी मानकर क्रीम या पाउडर का इस्तेमाल शुरू कर देते हैं। लेकिन अगर खुजली बढ़ रही है या बार-बार हो रही है, तो यह पाइल्स की शुरुआत हो सकती है।

खुजली क्यों होती है?

  • गुदा क्षेत्र में म्यूकस डिस्चार्ज

  • सूजन के कारण त्वचा की सतह पर जलन

  • गंदगी या पसीने की वजह से संक्रमण

अगर आप बीड में रहते हैं और आपको बार-बार यह समस्या हो रही है, तो Google Map लिंक से नजदीकी Ghodke Piles Hospital पहुँचिए, जहाँ अनुभवी डॉक्टर आपकी जाँच करेंगे।


दर्द जो बैठने में भी महसूस हो

क्या आपने कभी ऐसा महसूस किया कि कुर्सी पर बैठना तक मुश्किल हो गया है? या बाइक चलाते वक्त हर गड्ढा पीड़ा दे रहा है? यह संकेत हो सकता है कि बवासीर ने अपनी पकड़ मजबूत कर ली है।

दर्द कब बढ़ता है?

  • टॉयलेट जाने के बाद

  • लंबे समय तक बैठने पर

  • गुदा क्षेत्र को साफ करते समय

शुरुआत में हल्का दर्द नजरअंदाज किया जा सकता है, लेकिन जब ये असहनीय हो जाए, तब तक देर हो चुकी होती है। बीड के श्री रमेश जगताप जैसे मरीज़ों ने बताया कि उन्होंने शुरू में ये दर्द ‘हैमस्ट्रिंग की खिंचाव’ समझा। लेकिन सही डायग्नोसिस के बाद उन्हें पता चला कि ये बवासीर का संक्रमण है।

इसलिए अगर दर्द बैठने से जुड़ा हो, तो बवासीर की जांच जरूर कराएँ।


आंतरिक दबाव या भारीपन

यह लक्षण थोड़ा अलग है, लेकिन उतना ही महत्वपूर्ण। अगर आपको ऐसा लगता है कि पेट और गुदा क्षेत्र में भारीपन है, और टॉयलेट जाने के बाद भी पूरा मल साफ नहीं हुआ—तो यह एक गंभीर संकेत हो सकता है।

यह क्यों होता है?

  • आंतों में सूजन

  • बवासीर के कारण मल मार्ग अवरुद्ध होना

  • लगातार कब्ज़ से मल का जमाव

ये लक्षण केवल पाचन से जुड़ा हुआ नहीं है। बीड के कई मरीजों को लगा कि ये गैस्ट्रिक की समस्या है, लेकिन विशेषज्ञों ने बताया कि यह पाइल्स की जड़ हो सकती है।

“भीतर की बेचैनी अक्सर बाहर के घावों से बड़ी होती है।”

इसलिए अगर आप Beed में हैं और इस प्रकार के लक्षण महसूस करते हैं, तो यहाँ अपॉइंटमेंट लें और सही जांच करवाएं।


बवासीर क्या है?

पाइल्स का संक्षिप्त परिचय

बवासीर (Piles या Hemorrhoids) गुदा या मलाशय की नसों की सूजन होती है। ये सूजन अंदर (आंतरिक बवासीर) या बाहर (बाहरी बवासीर) हो सकती है। जब ये नसें सूज जाती हैं, तो वहां दर्द, खुजली, जलन और खून जैसी परेशानियाँ शुरू हो जाती हैं। आमतौर पर ये समस्या उन लोगों में पाई जाती है जो लंबे समय तक बैठते हैं, जिनका पाचन ठीक नहीं रहता, या जो ज्यादा मसालेदार खाना खाते हैं।

बीड में बवासीर के बढ़ते मामले – क्यों हो रहा है ऐसा?

बीड शहर की जीवनशैली और जलवायु इस समस्या को और गंभीर बनाते हैं:

  • गर्म और शुष्क मौसम से शरीर में पानी की कमी हो जाती है।

  • खानपान में तेल-मसाले की अधिकता पाचन को बिगाड़ती है।

  • लोग कम चलते हैं, ज्यादा समय बैठकर बिताते हैं।

  • ताजगी देने वाला फाइबरयुक्त खाना जैसे फल-सब्ज़ी कम खाते हैं।

इन्हीं कारणों से “बवासीर का इलाज बीड” और “बीड में पाइल्स डॉक्टर” जैसे सर्च टर्म्स इंटरनेट पर ज़्यादा देखने को मिल रहे हैं।

अगर आप भी बीड में रहते हैं और किसी भी तरह की गुदा संबंधित परेशानी का सामना कर रहे हैं, तो ये आपकी आँखें खोलने वाला पल हो सकता है।


बवासीर के प्रकार और उनका प्रभाव

आंतरिक और बाहरी बवासीर का अंतर

बवासीर दो प्रकार की होती है:

  1. आंतरिक बवासीर: यह मलाशय के अंदर विकसित होती है और शुरू में दर्द नहीं होता। जब यह बढ़ती है, तो खून आना शुरू होता है और कभी-कभी मलत्याग के समय यह बाहर आ जाती है।

  2. बाहरी बवासीर: यह गुदा के बाहर दिखाई देती है। इसमें दर्द, सूजन और खुजली अधिक होती है। ये चलने-फिरने में भी परेशानी पैदा करती है।

किस प्रकार की बवासीर है ज़्यादा खतरनाक?

वैसे तो दोनों प्रकार की बवासीर तकलीफदेह होती है, लेकिन अगर आंतरिक बवासीर समय पर न पहचानी जाए तो यह बाहर की ओर बढ़ने लगती है और ऑपरेशन की आवश्यकता पड़ सकती है। वहीं, बाहरी बवासीर ज्यादा दर्दनाक होती है और कभी-कभी रक्त के थक्के बन सकते हैं, जिससे तत्काल उपचार की ज़रूरत होती है।

इसलिए यह ज़रूरी है कि जैसे ही कोई लक्षण दिखे, आप सीधे किसी अच्छे बवासीर विशेषज्ञ से संपर्क करें। अगर आप बीड में रहते हैं, तो Ghodke Piles Hospital एक भरोसेमंद नाम है जहाँ लेज़र द्वारा बिना दर्द के इलाज किया जाता है।


बवासीर के 10 शुरुआती लक्षण

यह वह समय है जब शरीर संकेत दे रहा है, लेकिन समझने वाला चाहिए। आइए जानते हैं वो 10 मुख्य लक्षण जो बवासीर की ओर इशारा करते हैं।

मलत्याग के दौरान खून आना

यह बवासीर का सबसे आम और शुरुआती संकेत है। जब आप टॉयलेट में खून की कुछ बूंदें देखते हैं या टॉयलेट पेपर पर हल्का खून नजर आता है, तो इसे हल्के में लेना सबसे बड़ी भूल हो सकती है।

“खून बहना, भले ही थोड़ा हो, शरीर का अलार्म है – सुनिए इसे।”

इस लक्षण को नजरअंदाज करना आपकी सेहत के लिए भारी पड़ सकता है, इसलिए डॉक्टर से संपर्क करें, खासकर अगर आप बीड में हैं, तो यहाँ क्लिक करें और अपॉइंटमेंट बुक करें।

कब्ज़ और बार-बार मल त्याग की इच्छा

अगर आपको बार-बार टॉयलेट जाने का मन करता है लेकिन पूरी तरह से पेट साफ नहीं होता, तो यह सिर्फ पाचन की गड़बड़ी नहीं, बल्कि बवासीर की ओर इशारा कर सकता है। कब्ज़ बवासीर का सबसे बड़ा कारण भी है और लक्षण भी।

कैसे पता चले कि यह कब्ज़ से जुड़ा लक्षण है?

  • मल त्याग करते वक्त जोर लगाना पड़ता है

  • मल कठोर और सूखा होता है

  • पेट हमेशा भारी महसूस होता है

बीड जैसे शहरों में जहां अधिकतर लोग बाहर का खाना खाते हैं और फाइबर युक्त भोजन कम करते हैं, वहां कब्ज़ की समस्या आम है। यही कारण है कि बीड में “बवासीर का इलाज बीड” जैसे कीवर्ड्स तेजी से बढ़ रहे हैं।

इसका समाधान सिर्फ खाने की आदतों को बदलना नहीं, बल्कि सही समय पर डॉक्टर से संपर्क करना है।


गुदा से तरल स्राव या गीलापन

गुदा क्षेत्र में अगर आप किसी प्रकार के तरल पदार्थ का रिसाव या लगातार गीलापन महसूस करते हैं, तो इसे हल्के में न लें। यह संकेत बवासीर के अलावा भी कई गुदा संबंधित समस्याओं की ओर इशारा कर सकता है।

यह क्यों होता है?

  • सूजन के कारण शरीर का प्राकृतिक सुरक्षा रिसाव

  • पाइल्स के ज़ख्मों से लिक्विड का रिसाव

  • संक्रमण या पपड़ी टूटने के कारण गीलापन

कई लोग इसे पसीना या हाइजीन की कमी समझकर अनदेखा कर देते हैं। लेकिन बीड में एक रिपोर्ट के अनुसार, जिन मरीजों ने यह लक्षण महसूस किया और देर से इलाज लिया, उन्हें बाद में सर्जरी करवानी पड़ी।

Ghodke Piles Hospital, बीड में इस समस्या का पूरी तरह से परीक्षण करता है और गैर-सर्जिकल लेज़र तकनीक से राहत दिलाता है। समय पर जाँच से इलाज सरल हो जाता है।


थकान और कमजोरी

जब आपके शरीर से खून लगातार या रुक-रुक कर बाहर निकल रहा हो, तो थकान महसूस होना स्वाभाविक है। पर दुर्भाग्य से, थकान को हम अक्सर नींद की कमी या व्यस्तता का नतीजा मान लेते हैं।

थकान कैसे जुड़ी होती है बवासीर से?

  • लगातार खून बहने से शरीर में आयरन की कमी (Anemia)

  • नींद और आराम में कमी

  • दर्द और असहजता के कारण मानसिक तनाव

अगर आप बीड में रहते हैं और आपको थकान, चक्कर, या कमजोरी लगातार महसूस हो रही है, तो ज़रूरी है कि आप रक्त की जांच और बवासीर की स्क्रिनिंग कराएं। Ghodke Piles Hospital आपको पूरी सुविधा देता है ताकि आप सही समय पर कार्रवाई कर सकें।


संक्रमण के लक्षण

बवासीर अगर पुरानी हो जाए और साफ-सफाई का ठीक से ध्यान न रखा जाए, तो वहां संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है। इसमें दर्द बढ़ जाना, गंध आना, या पस आना जैसे लक्षण शामिल हो सकते हैं।

संक्रमण के मुख्य संकेत:

  • गुदा क्षेत्र से दुर्गंध आना

  • पस या बदरंग तरल स्राव

  • हल्का बुखार और सूजन

बीड के ग्रामीण इलाकों में, जहां लोग देर से इलाज के लिए पहुंचते हैं, वहां यह समस्या आम है। लेकिन यह खतरनाक हो सकती है, क्योंकि यह संक्रमण शरीर में और भी फैल सकता है। यदि आपको ये लक्षण नजर आएं, तो तुरंत किसी विशेषज्ञ के पास जाएं।

Ghodke Hospital, बीड में ऐसे मामलों के लिए विशेष संक्रमण नियंत्रण प्रक्रिया अपनाता है, जिससे स्थिति गंभीर होने से पहले इलाज संभव हो सके।


भावनात्मक तनाव और चिड़चिड़ापन

बवासीर केवल एक शारीरिक बीमारी नहीं है, यह मानसिक रूप से भी व्यक्ति को तोड़ सकती है। लगातार दर्द, खून आना, बैठने में तकलीफ़—ये सब व्यक्ति की भावनात्मक स्थिति पर असर डालते हैं।

कैसे प्रभावित होता है मानसिक स्वास्थ्य?

  • सामाजिक दूरी बढ़ जाती है

  • आत्मविश्वास में कमी

  • चिड़चिड़ापन और नींद में खलल

बीड के कई युवा पेशेंट्स ने बताया कि बवासीर की वजह से वे दोस्तों के साथ बाहर जाना या किसी समारोह में शामिल होना बंद कर चुके थे। यह सामाजिक दूरी धीरे-धीरे मानसिक तनाव का रूप ले लेती है।

“जब शरीर बीमार होता है, तो मन भी बीमार हो जाता है। और जब मन बीमार होता है, तो पूरी जिंदगी थम जाती है।”

इसलिए, बवासीर का इलाज न सिर्फ शरीर के लिए, बल्कि आत्मसम्मान और मानसिक शांति के लिए भी ज़रूरी है।

बीड में बवासीर का इलाज कहाँ और कैसे करवाएं?

अब तक आप समझ चुके होंगे कि बवासीर को नजरअंदाज करना कितना जोखिम भरा हो सकता है। लेकिन एक सवाल हर मरीज के मन में आता है—इलाज कहाँ कराएं? खासकर जब आप बीड जैसे शहर में रहते हों जहाँ बड़े मेडिकल हब नहीं होते, तो सही डॉक्टर और अस्पताल की तलाश करना चुनौतीपूर्ण हो सकता है।

बीड में बवासीर का इलाज—अब है आसान!

  • लेज़र तकनीक से बिना दर्द के इलाज

  • ऑपरेशन के बिना छुट्टी मिलने वाली सुविधा

  • अनुभवी और प्रशिक्षित सर्जन

  • महिला और पुरुष दोनों के लिए अलग जांच सुविधा

आज बीड में “बवासीर का इलाज बीड” या “बीड में पाइल्स डॉक्टर” जैसी खोजें लोगों को Ghodke Piles Hospital की ओर ले जा रही हैं। यहाँ आधुनिक तकनीक और गाइडेड इलाज उपलब्ध है, जिससे मरीजों को राहत भी मिलती है और भरोसा भी।


12. Ghodke Piles Hospital – बवासीर इलाज का भरोसेमंद नाम

बीड में जब बात बवासीर इलाज की आती है, तो Ghodke Piles Hospital एक ऐसा नाम बन चुका है जिस पर हजारों मरीजों ने भरोसा जताया है।

यहाँ क्या है खास:

  • Painless Laser Surgery: बिना टांके और बिना ब्लड लॉस के इलाज

  • Experienced Doctors: डॉ. घोडके जैसे विशेषज्ञों की निगरानी में इलाज

  • Fast Recovery: मरीज 24 से 48 घंटों में घर लौट सकते हैं

  • Privacy Maintained: व्यक्तिगत देखभाल और गोपनीयता का पूरा ख्याल

Ghodke Hospital में बीड और आसपास के जिलों से मरीज आते हैं। उनकी वेबसाइट ghodkepileshospital.in और Google Maps Location के माध्यम से आप आसानी से अपॉइंटमेंट बुक कर सकते हैं और दिशा-निर्देश पा सकते हैं।


क्या बवासीर को घरेलू उपायों से ठीक किया जा सकता है?

बहुत से लोग शर्म के कारण पहले घरेलू उपाय ही अपनाते हैं। हाँ, कुछ उपाय राहत जरूर देते हैं, लेकिन इलाज नहीं करते। आइए जानें क्या काम करता है और क्या नहीं।

उपयोगी घरेलू उपाय:

  • फाइबर युक्त आहार (फल, सब्जियाँ, साबुत अनाज)

  • दिन में कम से कम 2-3 लीटर पानी

  • Sitz bath (गुनगुने पानी में बैठना)

  • ठंडी सिकाई

लेकिन ध्यान रहे:

  • ये केवल लक्षणों को कम कर सकते हैं

  • गंभीर बवासीर को पूरी तरह से ठीक नहीं कर सकते

  • देर करने से हालत बिगड़ सकती है

यदि लक्षण 3-4 दिन में भी कम नहीं हो रहे, तो देरी ना करें। बीड में इलाज के लिए Ghodke Piles Hospital आपका स्थानीय समाधान है।


जीवनशैली में बदलाव: बवासीर से राहत की कुंजी

बवासीर के इलाज के साथ-साथ जरूरी है कि आप अपने रोज़मर्रा के जीवन में भी कुछ सुधार लाएं। यही बदलाव इस बीमारी को दोबारा होने से रोक सकते हैं।

खानपान में बदलाव:

  • तैलीय और मसालेदार भोजन से बचें

  • फाइबर बढ़ाएं (हरी सब्जियाँ, छिलके वाले फल)

  • खूब पानी पिएं

दैनिक आदतें:

  • टॉयलेट की आदत को रोके नहीं

  • लंबे समय तक बैठना टालें

  • दिन में 30 मिनट वॉक करें

मानसिक संतुलन:

  • स्ट्रेस कम करने की कोशिश करें

  • योग और ध्यान से भी फायदा मिलता है

Ghodke Hospital बीड में पोस्ट-ट्रीटमेंट गाइडेंस भी देता है ताकि मरीज दोबारा इस तकलीफ से ना जूझें।


बवासीर को नजरअंदाज करने के खतरनाक परिणाम

आप सोच सकते हैं, “अभी तो बस हल्का दर्द है,” लेकिन यही सोच आपको बड़े खतरे की ओर ले जा सकती है।

क्या हो सकता है अगर इलाज ना हो?

  • लगातार खून बहने से एनीमिया (Anemia)

  • गांठ का आकार बढ़ना

  • गुदा में संक्रमण

  • मलत्याग में पूर्ण बाधा

  • सर्जरी की ज़रूरत

शुरुआती लक्षणों पर ध्यान देना, और सही इलाज कराना ही आपको इन गंभीर परिणामों से बचा सकता है।


निष्कर्ष: शरीर की भाषा को समझें और समय पर कदम उठाएं

बवासीर कोई शर्म की बात नहीं है, यह एक सामान्य मेडिकल स्थिति है जो सही समय पर इलाज पाए तो पूरी तरह ठीक हो सकती है। अगर आप बीड में रहते हैं, और ऊपर बताए गए कोई भी लक्षण आप में नजर आ रहे हैं, तो देर ना करें।

आपका एक कदम न सिर्फ दर्द से राहत देगा, बल्कि आपको फिर से एक सहज जीवन जीने का अवसर देगा।

👉 आज ही अपॉइंटमेंट बुक करें: https://ghodkepileshospital.in/treatments/piles-treatment
📍 Google Map पर अस्पताल खोजें: https://g.co/kgs/3WyrUap
📍 Address: शांताई होटल के पीछे, जालना रोड, बीड, महाराष्ट्र – 431122


अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)

1. क्या बवासीर केवल बुजुर्गों को होती है?
नहीं, ये किसी भी उम्र में हो सकती है, खासकर उन लोगों को जो अधिक बैठते हैं या कब्ज़ से पीड़ित हैं।

2. बवासीर का इलाज कितने समय में होता है?
लेज़र तकनीक से इलाज होने पर मरीज 24–48 घंटे में सामान्य जीवन में लौट सकते हैं।

3. क्या घरेलू इलाज से बवासीर पूरी तरह ठीक हो सकती है?
नहीं, घरेलू उपाय सिर्फ अस्थायी राहत देते हैं। इलाज के लिए डॉक्टर से संपर्क जरूरी है।

4. Ghodke Piles Hospital में कौन-कौन सी सुविधाएं उपलब्ध हैं?
लेज़र ट्रीटमेंट, अनुभवी डॉक्टर, निजी जांच सुविधा, और फॉलो-अप गाइडेंस उपलब्ध हैं।

5. बीड के आसपास के जिलों से लोग इलाज के लिए कैसे आ सकते हैं?
आप Google Map यहाँ से दिशा प्राप्त कर सकते हैं और वेबसाइट से ऑनलाइन अपॉइंटमेंट बुक कर सकते हैं।


🙏 आपकी सेहत हमारे लिए सबसे ज़रूरी है!
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07/Nov/2023

Piles Doctor in Beed

Piles doctors in Beed, Maharashtra: Are you looking for the best piles doctors in Beed, Maharashtra, who can provide expert care and a compassionate approach to your condition? Look no further! Ghodke Piles Hospital is your trusted destination for comprehensive piles treatment. Led by renowned physicians, Dr. Ramesh Ghodke and Dr. Urmila Ghodke, including a dedicated female piles doctor, they offer a wide range of old and new treatment options to ensure you receive the best care available.

Piles, also known as hemorrhoids, can be a painful and distressing condition. In this article, we will delve into the symptoms, causes, and the innovative treatment options provided by Ghodke Piles Hospital to help you understand and manage your condition effectively.

Piles: Understanding the Condition

Piles, or hemorrhoids, are swollen blood vessels in the rectal and anal area. This condition can lead to discomfort, pain, bleeding, and itching. Knowing the symptoms and causes is crucial to seek timely treatment.

Symptoms of Piles:

  1. Rectal Bleeding: One of the most common symptoms of piles is the presence of bright red blood on the toilet paper or in the toilet bowl after a bowel movement.
  2. Itching and Discomfort: Piles can cause itching and discomfort in the anal region, making it challenging to sit comfortably.
  3. Pain: Some individuals experience pain during bowel movements or when sitting for extended periods.
  4. Swelling: Piles can lead to swelling around the anus, which may be sensitive or painful to the touch.

Causes of Piles:

The exact cause of piles is often a combination of factors, including:

  1. Straining During Bowel Movements: Exerting excessive pressure while passing stool can lead to the development of piles.
  2. Chronic Constipation or Diarrhea: Irregular bowel habits can contribute to the formation of piles.
  3. A Sedentary Lifestyle: Lack of physical activity can increase the risk of piles.
  4. Obesity: Being overweight can put additional pressure on the rectal area, leading to piles.

Old and New Treatment Options for Piles:

At Ghodke Piles Hospital, you can access a range of traditional and modern treatments to address your piles effectively. Dr. Ramesh Ghodke and Dr. Urmila Ghodke, along with their dedicated team, will customize a treatment plan that suits your specific needs. Some of the treatments offered include:

  1. Medication: Mild cases of piles can often be managed with medication and lifestyle modifications.
  2. Sclerotherapy: A minimally invasive procedure that involves injecting a solution into the piles to shrink them.
  3. Rubber Band Ligation: This procedure involves placing a rubber band around the base of the piles to cut off the blood supply, causing them to shrink and fall off.
  4. Laser Treatment: A cutting-edge approach that uses laser energy to remove or shrink piles, reducing discomfort and recovery time.
  5. Surgery: In severe cases, surgical intervention may be necessary. Ghodke Piles Hospital provides state-of-the-art surgical procedures to effectively treat piles.

Contact Information:

If you’re looking for the best piles doctors in Beed, don’t hesitate to reach out to Ghodke Piles Hospital:

Whether you require the expertise of a female piles doctor or a male specialist, Ghodke Piles Hospital has you covered. Your path to relief and recovery starts here.

Conclusion:

Ghodke Piles Hospital in Beed, Maharashtra, is your trusted destination for the best piles doctors and cutting-edge treatment options. Don’t let piles disrupt your life; contact them today to schedule a consultation and take the first step towards a pain-free, comfortable future. Your well-being is their priority, and they are here to provide you with the expert care you deserve.



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New Address: Ghodke Hospital, Behind shantai Hotel, Jalna Road , Beed, Maharashtra – 431122

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